चैनल हिंदुस्तान डेस्क: ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने फनी से हुए नुकसान की समीक्षा की। उन्होंने बताया कि फनी चक्रवात से पुरी जिले को भारी नुकसान पहुंचा है। इस चक्रवात ने सबसे पहले पुरी में ही दस्तक दी। उन्होंने कहा कि बिजली आपूर्ति का बुनियादी ढांचा पूरी तरह से तबाह हो गया है। अब इलाके में बिजली आपूर्ति बहाल करना एक चुनौतीपूर्ण कार्य है। बिजली आपूर्ति बहाल करने के लिए सैकड़ों इंजीनियर और तकनीशियन युद्ध स्तर पर काम कर रहे हैं।
पटनायक ने कहा कि सड़क संपर्क बहाल करने के लिए कार्य जारी है। इस चक्रवात से हुए नुकसान का आकलन करने में वक्त लगेगा। इसके अलावा चक्रवाती तूफान फनी के चलते ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर और पुरी समेत कई इलाकों में संचार लाइनें बाधित हो गई हैं। मोबाइल के टावर क्षतिग्रस्त हो गए हैं और बिजली की आपूर्ति ठप हो गई है।
ओडिशा की राजधानी भुवनेश्वर में भी काफी नुकसान पहुंचा है। एनडीआरएफ के डीआईजी रणदीप राणा का कहना है कि एहतियात बरतने की वजह से अब तक ज्यादा लोगों के हताहत होने की खबर नहीं है। मुख्यमंत्री ने बताया कि राज्य प्रशासन ने चक्रवात से पहले करीब 10 हजार गांवों और 52 शहरी इलाकों से करीब 11 लाख लोगों को हटा लिया था। यह देश में प्राकृतिक आपदा के समय संवेदनशील जगहों से लोगों को निकालने का अब तक का सबसे बड़े पैमाने पर किया गया बचाव कार्य बताया जा रहा है।
चक्रवाती तूफान फनी ने शुक्रवार सुबह करीब आठ बजे ओडिशा राज्य की धार्मिक नगरी पुरी में दस्तक दिया। बांग्ला में इस तूफान का नाम ‘फानी’ उच्चारित किया जाता है, जिसका मतलब ‘सांप का फन’ होता है। मूसलाधार बारिश के कारण ओडिशा के कई इलाकों में लोगों के घर पानी में डूब गए। वरिष्ठ अधिकारियों के मुताबिक फनी चक्रवात में अब तक कम से कम 10 लोगों के मरने की खबर है। माना जा रहा है कि इस आपदा में मरने और घायल होने वालों की संख्या में इजाफा हो सकता है।